गुरुवार, 29 दिसंबर 2011

इप्टा के राष्ट्रीय महाकुंभ का हुआ अगाज

भारतीय जननाट्य संघ(इप्टा) के सीनियर वाइस प्रेसिडेंट रणवीर सिंह ने झंडारोहण कर किया तीन दिवसीय महोत्सव का उद्घाटन
शेखर झा
भारतीय जननाट्य संघ(इप्टा) का सोमवार को सेक्टर-1 स्थित नेहरू सांस्कृतिक भवन के शरीफ अहमद मुक्ताकाशी रंगमंच पर १३वीं राष्ट्रीय सांस्कृतिक महोत्सव का उद्घाटन हुआ। कार्यक्रम की शुरुआत में इप्टा के सीनियर वाइस प्रेसिडेंट रणवीर सिंह ने झंडारोहण करके किया। कार्यक्रम में प्रसिद्ध नाट्य निर्देशक प्रसन्ना, अभिनेता अंजन श्रीवास्तव, अशोक भौमिक, रमेश राजहंस, राजेन्द्र गुप्ता, विनोद शुक्ल व विभिन्न प्रदेशों से आए रंगाकर्मियों की बड़ी संख्या में उपस्थिति रही। महोत्सव के शुरुआत में छत्तीसगढ़ के लिटिल इप्टा और बिहार इप्टा के कलाकारों ने जनगीत प्रस्तुत किया। इस दौरान श्रोताओं ने उनका तालियों से साथ स्वागत किया। झंडारोहण के बाद रंगकर्मियों ने मार्च ऑन, मार्च ऑन, आईपीटीएल ऑन बोलकर कार्यक्रम की शुरुआत की। कार्यक्रम के दौरान सीनियर वाइस प्रेसिडेंट सिंह ने कहा कि इप्टा पूरी दुनिया का सबसे बड़ा थियेटर ऐसोशिएशन है। इतना बड़ा न तो थियेटर है और न आने वाले दिनों में होगा। इप्टा के झंडा के पास खड़े होने से गर्व होता है। उन्होंने विभिन्न प्रदेशों से आए कलाकारों को मिलकर काम करने की सलाह दी, साथ ही उन्होंने कलाकारों से अपने मक्सद हो हमेशा याद करके आगे बढऩे को कहा। प्रसिद्ध नाट्य निर्देशक प्रसन्ना ने कलाकारों को अपने अभिनय से रूबरू कराते हुए कहा कि कलाकार किसी परिचय का महोताज नहीं होता है। वे अपने अभिनय से हर मुकाम को हासिल कर सकता है।
किया शरीफ को याद - उद्याटन सत्र के दौरान छत्तीसगढ़ के कलाकार शरीफ अहमद को सभी ने याद किया। पिछले महीने उनकी एक सड़क दुर्घटना में मौत हो गई थी। छत्तीसगढ़ इप्टा के कई कलाकारों के आंखों से आंसू छलक रहे थे। कलाकार मणिमय मुखर्जी के आंसू थम नहीं रहे थे, क्योंकि कार्यक्रम को लेकर शरीफ पिछले एक महीने तक उनके साथ काम किया और कार्यक्रम में उनकी कमी महसूस हो रही है।
किया दो मिनट का मौन धारण- देश की रक्षा करने के लिए अपनी जान की आहूति देने वाले जावनों को विभिन्न प्रदेशों से आए कलाकारों ने कार्यक्रम में दो मिनट मौन रखकर श्रृद्धांजली अर्पित किया।

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